ट्रिपल एस ओ न्यूज, बीकानेर/जयपुर। राजस्थान सरकार द्वारा यात्री वाहनों पर लगे केरियर हटाने को लेकर जारी आदेशों के बाद प्रदेशभर में टैक्सी, टूरिस्ट कार एवं टेम्पो ट्रैवलर संचालकों में भारी असमंजस और रोष व्याप्त है। बिना स्पष्ट नियमावली और गाइडलाइन जारी किए परिवहन विभाग एवं यातायात पुलिस द्वारा टैक्सी वाहनों के चालान किए जाना सरासर अन्यायपूर्ण बताया जा रहा है।
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| यात्री वाहनों से केरियर हटाने के आदेश पर टैक्सी संचालकों में उबाल, स्पष्ट दिशा-निर्देशों के अभाव में चालान कार्रवाई का विरोध |
टैक्सी यूनियनों का कहना है कि सरकार ने अभी तक यह स्पष्ट नहीं किया है कि टूरिस्ट परमिट पर चलने वाली टैक्सी कारें, इनोवा, एर्टिगा, क्रिस्टा, टेम्पो ट्रैवलर जैसी गाड़ियों में यात्रियों के सामान की व्यवस्था कैसे की जाए। उदाहरण देते हुए पदाधिकारियों ने बताया कि यदि कोई परिवार या पर्यटक समूह 8 से 10 दिन के टूर पर जाता है और उनके साथ 7–8 बड़े बैग होते हैं, तो उन्हें वाहन के अंदर रखना न केवल असुविधाजनक बल्कि सुरक्षा की दृष्टि से भी उचित नहीं है।
संगठन का आरोप है कि विभागीय आदेशों की अस्पष्टता का खामियाजा सीधे-सीधे वाहन चालकों और मालिकों को भुगतना पड़ रहा है। कई स्थानों पर टैक्सी चालकों के चालान काटे जा रहे हैं, जिससे उनकी रोजी-रोटी पर सीधा असर पड़ रहा है। टैक्सी चालक पहले से ही महंगे डीजल-पेट्रोल, बीमा, परमिट शुल्क और किस्तों के बोझ तले दबे हुए हैं, ऐसे में यह कार्रवाई उनकी परेशानियों को और बढ़ा रही है।
पदाधिकारियों ने बताया कि पिछले दो दिनों से लगातार परिवहन आयुक्त कार्यालय पहुंचकर समस्या से अवगत कराया जा रहा है, लेकिन अब तक परिवहन आयुक्त महोदय से मुलाकात नहीं हो पाई है। विभाग के अन्य अधिकारियों द्वारा भी कोई स्पष्ट एवं संतोषजनक उत्तर नहीं दिया गया, जिससे टैक्सी संचालकों में नाराजगी और बढ़ गई है।
राजस्थान प्रदेश जीप/कार टैक्सी एकता यूनियन के संरक्षक श्रीनाथ पाठक एवं राजस्थान ट्रांसपोर्ट कर्मचारी फेडरेशन, बीकानेर के संरक्षक श्री हेमन्त किराडू के मार्गदर्शन में ऑल राजस्थान टूरिस्ट कार एसोसिएशन इस मुद्दे को लेकर एकजुट होकर संघर्ष कर रही है। प्रदेश अध्यक्ष दिलीप सिंह महरौली, प्रदेश महासचिव प्रदीप कुमार पाराशर, प्रदेश अध्यक्ष हीराराम बिश्नोई, कोषाध्यक्ष सज्जन सिंह शेखावत सहित अनेक पदाधिकारी पिछले दो दिनों से जयपुर में डटे हुए हैं।
संगठन ने स्पष्ट चेतावनी दी है कि यदि शीघ्र ही टैक्सी एवं टूरिस्ट वाहनों को लेकर व्यावहारिक दिशा-निर्देश जारी नहीं किए गए और चालान कार्रवाई पर रोक नहीं लगाई गई, तो मजबूरन प्रदेशभर में चरणबद्ध आंदोलन किया जाएगा। इसमें धरना-प्रदर्शन, परिवहन कार्यालयों का घेराव और अंततः चक्का जाम जैसे बड़े कदम भी उठाए जा सकते हैं।
टैक्सी संगठनों ने सरकार से मांग की है कि पर्यटन को बढ़ावा देने की बात करने वाली राज्य सरकार को टैक्सी एवं टूरिस्ट वाहन चालकों की जमीनी समस्याओं को भी समझना चाहिए और तुरंत इस विषय में स्पष्ट आदेश जारी कर राहत प्रदान करनी चाहिए।

